नई दिल्ली। तमिलनाडु में मुख्यमंत्री पद पर ताजपोशी का इंतजार कर रहीं शशिकला अब सलाखों के पीछे पहुंच गई हैं। एआईएडीएमके महासचिव शशिकला को सुप्रीम कोर्ट ने आय से अधिक संपत्ति मामले में 4 साल की सजा सुनाई है। शशिकला ने बंगलुुरु पहुंचकर सरेंडर किया। वहां जेल के बाहर कुछ लोगों ने वाहनों में तोडफ़ोड़ की और पुलिस को उन्हें खदेडऩे के लिए बल प्रयोग करना पड़ा। शशिकला को जेल में अलग से सेल भी नहीं मिली है। उन्हें 2 अन्य महिलाओं के साथ सेल में रहना पड़ेगा और कठिन परिश्रम भी करना पड़ेगा। शशिकला जेल में कैदी नंबर 9435 होंगी। उन्हें बैरक नंबर 2 में रखा गया है।
वहीं इससे पहले शशिकला जयललिता की समाधि पर पहुंचीं और प्रार्थना की। श्रद्धांजलि देते हुए समाधि पर फूल चढ़ाए और माथा टेककर शपथ भी ली। जयललिता की समाधि के बाद शशिकला एमजीआर मेमोरियल पहुंचीं और वहां पर ध्यान लगाया।
इससे पहले सुप्रीम कोर्ट ने शशिकला को तुरंत सरेंडर करने को कहा। सुप्रीम कोर्ट ने शशिकला की तरफ से दी गई उस याचिका को खारिज कर दिया है, जिसमें सरेंडर करने के लिए समय मांगा गया था। कोर्ट की तरफ से कहा गया है कि शशिकला को सरेंडर करने के लिए और वक्त नहीं, फैसले में बदलाव की गुंजाइश नहीं है।
भतीजे को बनाया उप महासचिव
जेल जाने से पहले शशिकला ने नया दांव खेल दिया। शशिकला ने अपने भतीजे दिनाकरन को एआईएडीएमके का उप महासचिव बनाया है। वो उनकी गैरमौजूदगी में पार्टी की कमान संभालेंगे। आपको बता दें कि मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट का फैसला आने के बाद तमिलनाडु में काफी दिनों से चल रहा सियासी ड्रामा और तेज हो गया। एआईएडीएमके नेता शशिकला के समर्थक विधायकों के साथ जिस गोल्डन बे रिजॉर्ट में रुकी थी वहां की बिजली काट दी गई। दरअसल, इसका कारण ये बताया गया कि विधायक रिजॉर्ट छोड़कर जाने को तैयार ही नहीं थे जिसके चलते बिजली काटनी पड़ी। शशिकला ने जेल जाने का फैसला आने बाद तत्काल प्रभाव से पन्नीरसेल्वम को पार्टी से निकालते हुए पालानीसामी को विधायक दल का नया नेता चुन लिया। बता दें कि पालानीसामी शशिकला खेमे के नेता माने जाते हैं और चार बार विधायक भी रह चुके हैं।
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शशिकला अब सलाखों के पीछे पहुंच गई
